“ट्रांसफर की राह देख रहे शिक्षकों को बड़ा झटका:3.85 लाख शिक्षकों की ट्रांसफर व पोस्टिंग पर हाईकोर्ट की रोक
“ट्रांसफर की राह देख रहे शिक्षकों को बड़ा झटका:पटना.बिहार में ट्रांसफर की राह देख रहे शिक्षकों को मंगलवार को पटना हाईकोर्ट से बड़ा झटका लगा। हाईकोर्ट ने बिहार में शिक्षकों की ट्रांसफर-पोस्टिंग पर रोक लगाते हुए राज्य सरकार को तीन हफ्ते में जवाबी हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया है। न्यायमूर्ति प्रभात कुमार सिंह ने राज्य में शिक्षकों की ट्रांसफर पोस्टिंग नीति के खिलाफ औरंगाबाद के शिक्षक नीरज पांडेय सहित कुल 13 शिक्षकों की ओर से दायर रिट याचिका पर सुनवाई के बाद यह फैसला दिया। हाल ही में सरकार शिक्षकों के लिए ट्रांसफर-पोस्टिंग की पॉलिसी लाई थी।
च्वाइस पोस्टिंग के लिए शिक्षा विभाग की तरफ से आवेदन भी लिए जा रहे थे। शिक्षकों की तरफ से कोर्ट में अधिवक्ता मृत्युंजय कुमार और सरकार की तरफ से हाईकोर्ट से सीनियर अधिवक्ता ललित किशोर ने पक्ष रखा। जिसके बाद हाईकोर्ट ने शिक्षकों के ट्रांसफर/पोस्टिंग पर फिलहाल रोक लगा दी है। पटना हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को तीन सप्ताह में स्थिति स्पष्ट करने को कहा है।
वरीय अधिवक्ता ललित किशोर ने कोर्ट को बताया कि सरकार ने शिक्षकों को निर्देश दिया था कि वे 22 नवंबर 2024 तक अपने ट्रांसफर/पोस्टिंग के लिए विकल्प दें। इसके साथ ही सरकार ने यह भी निर्देश दिया था कि इस तय समय सीमा के भीतर अगर शिक्षक विकल्प नहीं देते हैं तो उनका सरकार अपने हिसाब से तबादला करेगी। मामले की अगली सुनवाई 21 जनवरी को होगी।
सक्षमता परीक्षा
परीक्षा के दो चरण हो चुके हैं। 2,52,716 शिक्षक पास हुए हैं।
65,716 शिक्षक पहले चरण में पास हुए हैं। जबकि दूसरे चरण में 1.87 लाख शिक्षक पास हुए हैं।
1.19 लाख शिक्षकों की काउंसिलिंग पूरी हो चुकी है।
48000 की काउंसिलिंग आधार, अंकपत्र, सहित अन्य कारणों से रुकी है।
20000 शिक्षकों की काउंसिलिंग अंतिम चरण में है।
1.19 लाख को आज मिलेगा नियुक्ति पत्र, राज्यकर्मी बनेंगे
सक्षमता परीक्षा पास 1.19 लाख शिक्षकों को बुधवार को नियुक्ति पत्र दिया जाएगा। नियुक्त पत्र मिलने के बाद शिक्षकों को राज्यकर्मी का दर्जा दिया जाएगा। इसके साथ ही उनकी नई नियुक्ति मानी जाएगी। नियुक्ति पत्र पाने के बाद शिक्षक जिन स्कूलों में कार्यरत हैं, वहीं पर नियुक्त होंगे।
ट्रांसफर के लिए 22 तक करना था आवेदन
शिक्षक ट्रांसफर नीति 7 अक्टूबर को लागू हुई है। इसमें रोगग्रस्त, दिव्यांग, महिला, पुरुष शिक्षकों के लिए कैटेगरी निर्धारित की गई थी। जिसके मुताबिक वह पंचायत, प्रखंड और अनुमंडल में ट्रांसफर के लिए आवेदन कर सकते थे। शिक्षकों को ट्रांसफर के लिए 7 से 22 नवंबर तक आवेदन करने का समय दिया गया था। 7 से 19 नवंबर तक 13 दिनों में 1.35 लाख शिक्षकों ने आवेदन किया था। पोस्टिंग के 5 वर्ष बाद फिर से शिक्षकों के ट्रांसफर के लिए योजना बनायी गई थी।
इधर, सरकार ने रोका ट्रांसफर, नई पॉलिसी आएगी, बिहार में शिक्षकों के तबादले का इंतजार और लंबा हुआ
बिहार के 3.85 लाख शिक्षकों का ट्रांसफर अनिश्चितकाल के लिए रुक गया है। इस दौरान जो शिक्षक जिस स्कूल में पढ़ा रहे हैं, वहीं पर काम करेंगे। ये जानकारी शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने दी। उन्होंने कहा कि ट्रांसफर नीति पर उन्हें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से निर्देश प्राप्त हुआ। उनसे विचार-विमर्श के बाद यह निर्णय लिया गया है कि अब ट्रांसफर पॉलिसी पर अभी विचार नहीं होगा। सरकार ने बिहार शिक्षक ट्रांसफर पॉलिसी को स्थगित कर दिया गया है। अब सक्षमता परीक्षा के 5 चरण पूरे होने के बाद ही ट्रांसफर की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। शिक्षक फिर से आवेदन करेंगे। सक्षमता परीक्षा के 5 चरण पूरे होने के बाद अधिक से अधिक शिक्षक ट्रांसफर प्रक्रिया में हिस्सा लेंगे। यदि जरूरत हुई तो ट्रांसफर नीति में संशोधन किया जाएगा। शिक्षा मंत्री ने बताया कि इस पूरी पॉलिसी में संशोधन के बाद बाद में फिर से नई ट्रांसफर पॉलिसी लाई जाएगी।