Success Story: IAS बनकर देश और समाज की सेवा करना चाहती हैं सुरम्या शर्मा,281 रैंक हासिल की..
Success Story: UPSC Result : तीर्थनगरी की बेटी सुरम्या शर्मा ने यूपीएससी की परीक्षा में कड़ी मेहनत और लगन से 281 रैंक हासिल की है। सुरम्या की सफलता पर न केवल परिवार बल्कि शहर के लोगों में भी खुशी छाई है।
अपनी सफलता के पीछे माता पिता की प्रेरणा और बाबा का आशीर्वाद बताते हुए सुरम्या अभी अपनी रैंक से पूरी तरह संतुष्ट नहीं है। वह फिलहाल जो भी जिम्मेदारी मिलेगी, संभालेंगी। लेकिन, रैंक में सुधार के लिए एकबार फिर परीक्षा की तैयारी करने का मन बना रही है। हालांकि अभी आईएएस के अलावा आईपीएस अथवा आईआरएस क्या उसे मिलेगा। ये निश्चित नहीं है। लेकिन, सुरम्या का सपना आईएएस बनकर राष्ट्र व समाज की सेवा करना बचपन से ही था और वह अपना सपना साकार करने तक कड़ी मेहनत से पीछे हटने को तैयार नहीं है।
नोएडा से इंजीनियरिंग की
तराश मंदिर निवासी सुरम्या शर्मा ने यूपीएससी के तीसरे चक्र में 281 रैंक हासिल की है। अपनी सफलता के पीछे मां नीरजा शर्मा, पिता उदयन शर्मा की प्रेरणा और संघर्ष के साथ वृंदावन के पूर्व चेयरमैन रहे स्व. मगनलाल शर्मा का आशीर्वाद मानने वाली सुरम्या ने कहा उसका सपना बचपन से ही आईएएस बनने का था। जो अब साकार हो रहा है। सेंट डोमनिक स्कूल में इंटरमीडिएट में टॉप रहीं सुरम्या ने नोएडा में इंजीनियरिंग की और इसी के साथ यूपीएसई की तैयारी भी शुरू कर दी।
तीसरी बार में सफलता मिली
तीसरी बार में सुरम्या को सफलता हाथ तो लगी है। लेकिन, वह अभी संतुष्ट नहीं है। सुरम्या कहती है रैंक बढ़ाने के लिए वह एकबार फिर से यूपीएससी की परीक्षा में शामिल होगी, उसे आईएएस ही बनना है। जबकि वर्तमान रैंक में उसे या तो आईपीएस अथवा आईआरएस ही मिलने की उम्मीद है।
घर में बधाईयों का तांता
सुरम्या की सफलता का परिणाम आते ही तराश मंदिर स्थित आवास पर शुभचिंतकों की भीड़ जुटना शुरू हो गई। हर कोई सुरम्या की सफलता को वृंदावन की सफलता बता रहा था। रिजल्ट घोषित होने के बाद से ही घर में लोगों का तांता लग गया और हर कोई सुरम्या को मिठाई खिलाकर बधाई दे रहा था।
17 साल चेयरमैन रहे थे स्व. मगनलाल शर्मा
सुरम्या के बाबा स्व. मगनलाल शर्मा जनसंघ के कद्दावर नेताओं में शामिल थे। पूर्व पीएम अटलबिहारी वाजपेयी, नानाजी देशमुख जैसे कद्दावर नेताओं से नजदीकी किसी से छिपी नहीं है। वे 17 साल तक नगर पालिका वृंदावन के चेयरमैन रहे और समाजसेवा के क्षेत्र में अनेक उल्लेखनीय योगदान भी दिये। पिता उदयन शर्मा भी राजनीति में बड़ा दखल रखते हैं। वे भाजपा में रहकर अनेक पदों पर रहते हुए समाजसेवा में जुटे हैं।