इजरायल से लौटे गोरखपुर के हर्ष की आपबीती,अनगिनत रॉकेट,दिल दहल उठता था
नई दिल्ली ।इजरायल और हमास के बीच जंग जारी है. भारी संख्या में बमबारी और आसमान में आग उगलते रॉकेट देखे जा सकते हैं. इसी बीच भारत सरकार ने अपने नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिए ‘ऑपरेशन अजय’ चला रही है. इसके तहत गोरखपुर के रहने वाले हर्ष पल्लव पहली ट्रिप में सुरक्षित अपने परिवार के बीच पहुंच गए हैं.
अपने लाल को सुरक्षित अपने बीच पाकर परिवार वाले गदगद हैं. सभी ने एक स्वर में भारत सरकार के ऑपरेशन अजय की प्रशंसा की. गोरखपुर के हर्ष पल्लव इजरायल में तेल अवीव यूनिवर्सिटी से बीटेक कर रहे हैं. वो इजरायल और हमास युद्ध के चश्मदीद गवाह हैं. वहां के हालात के बारे में बहुत कुछ बता रहे हैं.
हर्ष पल्लव की जुबानी…
सरकार चला रही ‘ऑपरेशन अजय’, इजरायल से वतन लौटे 212 भारतीय, चेहरे पर दिखा सुकून
हर्ष पल्लव कहते हैं, इजरायल में अनगिनत रॉकेट आसमान में गोले बरसा रहे हैं. उनको दो वक्त की रोटी के लिए इंतजार करना पड़ता था. रॉकेट हमले के सायरन बजते ही सभी लोगों को 90 सेकंड के अंदर बंकर में जाना होता था. हम जिस बिल्डिंग में रहते थे, वहां हर फ्लोर पर बंकर थे. हम लोग 10 सेकंड के अंदर ही बंकर में चले जाते थे.
उन्होंने आगे बताया कि बम गिरते ही डर से सभी लोगों का दिल दहल उठता था. हमें तेल अवीव एयरपोर्ट पहुंचने में कोई खास दिक्कत नहीं हुई. मगर, जो लोग दूर से आ रहे थे, उन्हें थोड़ी मुश्किल का सामना करना पड़ा. फिलहाल, अभी इजरायल में हालात सामान्य हो गए हैं. वहां की सरकार सभी लोगों का ख्याल रख रही है.
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इजरायल में फंसी विनीता घोष की वापसी
वहीं, झारखंड से तेल अवीव विश्वविद्यालय पीएचडी करने गईं रांची की विनीता घोष और उनके परिजन राहत की सांस ले रहे हैं. ऑपरेशन अजय उनके लिए किसी वरदान से कम नहीं है. इजरायल में फंसी विनीता की शुक्रवार सुबह वतन वापसी हो गई. इकलौती संतान के वापस लौटने पर परिजन कभी केंद्र सरकार तो कभी ईश्वर को धन्यवाद दे रहे हैं.
विनीता ने अपने पिता से वतन वापसी की गुहार लगाई थी. पिता ने बताया कि जिस हॉस्टल में विनीता थी, उसके नीचे बंकर बना हुआ था. जैसे ही सायरन बजता था सभी छात्र हॉस्टल के नीचे बने बंकर में चले जाते थे. हालांकि, सुरक्षा की बेहतर व्यवस्था तेल अवीव में थी लेकिन बेटी इस तरह के युद्ध में पहली बार फंसी है तो उनकी चिंता भी जायज थी.