समस्तीपुर में नजराना नहीं देने पर अधिवक्ता को हथकड़ी लगा पहुंचाया कोर्ट..
समस्तीपुर । रोसड़ा में नजराना नहीं देने पर पुलिस द्वारा एक अधिवक्ता के साथ दुर्व्यवहार करने और हथकड़ी लगाकर कोर्ट पहुंचाने का मामला प्रकाश में आया है। यह कारनामा हथौड़ी थाने में पदस्थापित एएसआइ कुंदन कुमार के द्वारा किया गया है। उक्त तिथि को एएसआइ के थानाध्यक्ष के प्रभार में भी रहने की बात बताई गई है। अधिवक्ता का किसी मामले में गवाही के लिए जमानतीय वारंट जारी था। मामला संज्ञान में आते ही न्यायालय ने संबंधित पदाधिकारी से कारण पृच्छा किया है।
इधर पीड़ित अधिवक्ता थाना क्षेत्र के बंधार निवासी सुनील चौधरी उर्फ अशोक चौधरी ने वरीय पुलिस पदाधिकारी एवं मानवाधिकार आयोग में शिकायत दर्ज कराकर न्याय की गुहार लगाई है। उन्होंने अपने आपको अधिवक्ता के साथ-साथ वरिष्ठ नागरिक होने की बात बताते हुए कहा है कि पांच जुलाई की संध्या चार बजे उक्त पुलिस पदाधिकारी दल बल के साथ घर पर पहुंचे और उनके विरुद्ध वारंट रहने की जानकारी दी। गवाही नहीं देने के कारण वारंट जारी होने की बात बताई गई। अधिवक्ता ने अनभिज्ञता जताते हुए अगली तिथि में गवाही देने का वादा कर लिखित रूप से इसे देने की भी बात कही, लेकिन बगैर कुछ सोचे- समझे पुलिस पदाधिकारी द्वारा कालर पकड़कर हथकड़ी लगाने तथा अधिवक्ता होने की जानकारी देने के बावजूद उन्होंने एक नहीं सुनी। स्वजनों के गिड़गिड़ाने और अपनी मान प्रतिष्ठा की दुहाई देने के बाद पुलिस पदाधिकारी द्वारा छोड़ने के लिए 20 हजार मांगने का आरोप लगाया है। इन्कार करते ही गाली- गलौच तथा लप्पर-थप्पड़ करते हुए गाड़ी में बैठाने और थाने के हाजत में बंद करने की जानकारी दी है। दूसरे दिन पुन: हथकड़ी लगाकर ही कोर्ट में पेश करने की जानकारी देते हुए अधिवक्ता ने आवश्यक कार्रवाई की मांग की है। न्यायालय ने हथौड़ी थानाध्यक्ष से किया कारणपृच्छा
जमानतीय अधिपत्र पर साक्षी को गिरफ्तार करने के मामले में न्यायालय ने हथौड़ी थानाध्यक्ष से कारण पृच्छा किया है। जिसमें कहा गया है कि जमानतीय अधिपत्र के आधार पर किस परिस्थिति में साक्षी सुनील कुमार चौधरी को गिरफ्तार कर न्यायालय में उपस्थापित कराया गया। न्यायालय ने कारण पृच्छा प्राप्त होने के तीन दिनों के अंदर पुलिस पदाधिकारी को सदेह उपस्थित होकर इस संबंध में स्थिति स्पष्ट करने का आदेश जारी किया है। जानकारी के अनुसार सरकार बनाम गणेश मिश्र मामले से संबंधित टीआर नंबर 90/22 में सुनील कुमार चौधरी को साक्षी बनाया गया था।