Friday, November 29, 2024
Patna

बिहार की नाजिया परवीन को मिलेगा नर्सिंग का सर्वश्रेष्ठ सम्मान, राष्ट्रपति करेंगे राष्ट्रीय फ्लोरेंस नाइटिंगेल अवार्ड से सम्मानित

अररिया: नर्सिंग के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य के लिए सदर अस्पताल में कार्यरत नर्स नाजिया परवीन को राष्ट्रीय फ्लोंरेंस नाइटेंगिल अवार्ड 2021 मिलेगा। अवार्ड के लिए नाजिया के चयन से पूरा स्वास्थ्य महकमा उत्साहित है। अवार्ड के लिए चयनित होने पर उन्हें बधाई व शुभकामना मिल रही है। विदित हो कि राष्ट्रीय फ्लोरेंस नाइटिंगेल अवार्ड नर्सिंग के क्षेत्र में दिया जाने वाला सर्वोच्च सम्मान है। जो नर्सिंग सेवा से जुड़े कर्मियों को उनकी निस्वार्थ सेवा व असाधारण कार्यकुशलता के लिए प्रदान किया जाता है। फिलहाल, पुरस्कार देने की तिथि राष्ट्रपति कार्यालय की तरफ से निर्धारित नहीं किया गया है।

राष्ट्रीय सम्मान के लिए चयनित होने पर नाजिया परवीन ने बताया कि जीवन में इतनी खुशी कभी महसूस नहीं की थी। जितना इस सम्मान के लिए चयनित होने के बाद कर रही हूं। राष्ट्रीय स्तर पर सम्मान के लिए चयनित होने पर उन्होंने अपने नर्सिंग प्रोफेसन के प्रति आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि इसके माध्यम से मुझे जन सेवा का बेहतर मौका हासिल हो सका। परिवार में दो बच्चे होने के बावजूद इस मुकाम पर पहुंचना थोड़ा मुश्किल था। बावजूद इसके अपने पति व माता-पिता सहित अन्य स्वजनों से मिले सहयोग को उन्होंने सराहा। उन्होंने सदर अस्पताल प्रबंधन सहित अस्पताल के सभी चिकित्सक व अपने सहकर्मी से मिले सहयोग के प्रति उन्होंने आभार जताया।

स्वास्थ्य सेवाओं के लिए हरसंभव किया प्रयास

नाजिया ने बताया कि स्वास्थ्य सेवाओं में जरूरी सुधार इस पेशे में आने के बाद उनका प्राथमिक उद्देश्य रहा है। उन्होंने कहा कि सदर अस्पताल आने के बाद उन्होंने विभाग के सहयोग व सहकर्मियों की मदद से नये सिरे से लेबर रूम का सेटअप तैयार कराया। इसे बेहतर ढंग से सुसज्जित कराया गया। देश के बड़े अस्पतालों की तरह अस्पताल के कर्मियों के लिए एसओपी तैयार कराने में उन्होंने अपनी भूमिका निभाई। पहले अस्पताल में नर्स दिवस का आयोजन नहीं होता था।

अस्पताल में अपनी सेवा देने के शुरूआती दिनों से ही उन्होंने विशेष रूप से नर्स दिवस के आयोजन को बढ़ावा दिया। अच्छे कर्मियों को प्रोत्साहित व पुरस्कृत करने की प्रक्रिया को बढ़ावा देने के लिये भी वे लगातार प्रयत्नशील रही। इतना ही नर्सों को जरूरी प्रशिक्षण, महत्वपूर्ण स्कील का अभाव, उनकी क्षमताओं को कमतर आंकना कुछ विभागीय कमियां थी। इसे दूर करने में उन्होंने बढ़-चढ़ कर अपनी भागीदारी निभाई। उन्होंने बताया कि नर्सिंग ट्रेनिंग उन्होंने वर्ष 2010 में पूरा किया। राजधानी दिल्ली में पांच सालों तक सेवा देने के बाद वे लगातार बिहार के अररिया जिले में अपनी सेवाएं दे रहीं हैं।

वर्ष 2016 में सदर अस्पताल में उनकी नियुक्ति हुई। अस्पताल द्वारा उपलब्ध कराई जा रही सेवाओं की बेहतरी को लेकर वे लगातार प्रयत्नशील रही। इसमें वरीय अधिकारियों का भी उन्हें समुचित सहयोग प्राप्त होता रहा। अस्पताल में सूखा व गीला कचरा का प्रबंधन, कोरोना काल में पीपीई किट का प्रयोग, बहुत से ट्रेनिंग में उन्होंने बढ़-चढ़ कर अपनी भागीदारी निभाई। जीएनएम के बाद उन्होंने नौकरी के दौरान ही पोस्ट बेसिक बीएससी इग्नू से पूरा किया। केयर इंडिया के माध्यम से भी अमानत ज्योती, एसबीए का ट्रेनिंग प्राप्त कर उन्होंने मास्टर ट्रेनर की भूमिका सफलता पूर्वक निभाई। इंफेक्शन कंट्रोल ऑडिट, ट्रेक ट्रेस, समय से पूर्व जन्म लेने वाले बच्चों की देखरेख से जु़डा प्रशिक्षण दिल्ली से प्राप्त किया। कुछ दिन पहले स्वास्थ्य विभाग द्वारा आयोजित सीबीआरआर के प्रशिक्षण में प्रखंड व जिलास्तर पर वो टॉपर भी रही हैं।

Kunal Gupta
error: Content is protected !!