“समस्तीपुर में CM के आगमन पर कलेक्ट्रेट के सामने प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तार छात्र नेताओं को किया गया रिहा
समस्तीपुर में मुख्यमंत्री के आगमन पर कलेक्ट्रेट के सामने प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तार छात्र नेताओं को सोमवार देर रात थाने से बल पर छोड़ा गया। छात्र नेताओं को थाने से छोड़े जाने के बाद छात्र संगठन से जुड़े नेताओं ने उनका माला पहनकर स्वागत किया एवं सड़क पर विजय जुलूस निकाला।
इस दौरान छात्रों द्वारा 14 जनवरी को घोषित किया गया आंदोलन को भी रद्द कर दिया गया। प्रगति यात्रा के दौरान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार विभिन्न प्रखंडों में योजनाओं की शिलान्यास और उद्घाटन के बाद कलेक्ट्रेट पहुंचे थे तो आइसा, एपवा, एन एसयूआई व अन्य छात्र संगठनों से जुड़े नेताओं ने कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन किया था।
इस दौरान पुलिस ने विभिन्न संगठनों के 10 छात्र नेताओं को गिरफ्तार किया था। प्रदर्शन कर रहे छात्र 70वीं बीपीएससी की परीक्षा को रद्द कर परीक्षा की नई तिथि घोषित करने के साथी पटना में हुए लाठी चार्ज के दोषी पदाधिकारी पर कार्रवाई करने के साथ ही छात्र आंदोलन के दौरान मृत्यु हुई छात्र सोनू के परिजनों को उचित मुआवजा देने आदि की मांग कर रहे थे।
वरीय नेताओं की पुलिस पदाधिकारी से वार्ता के बाद किए गए रिहा भाकपा माले जिला सचिव उमेश कुमार, राज्य कमेटी सदस्य बंदना सिंह, भाकपा जिला सचिव सुरेंद्र कुमार मुन्ना, माकपा के विधायक अजय कुमार, आइसा जिला अध्यक्ष सुनील कुमार, राज्य अध्यक्ष प्रीति कुमारी, आइसा-आरवाईए जिला प्रभारी सुरेंद्र प्रसाद सिंह, आदि द्वारा वरीय अधिकारियों से वार्ता के बाद देर रात एफआईआर दर्ज के बाद बेल देकर नगर थाना से रिहा कर दिया गया।
रिहा होने पर मीडिया को संबोधित करते हुए आइसा सह भाकपा माले नेता उदय कुमार ने कहा कि बीपीएससी रिएग्जाम एवं पेपर लीक के खिलाफ आंदोलन के दौरान सैकड़ों बार जेल जाना पड़े तो जाउंगा लेकिन छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं करूंगा। भाकपा माले, माकपा, भाकपा एवं कांग्रेस के नेताओं ने रिहा किये गये छात्र नेताओं को माला पहनाकर स्वागत करते हुए कहा कि आपके संघर्ष की जीत होगी।