Success Story :विषम परिस्थितियों में भी कुमकुम ने आइआइटी के सपने को किया साकार
पटना. रांची।””जहां चाह, वहां राह”” इस कहावत को चरितार्थ कर रहीं सिंदरी के कांड्रा की रहने वाली कुमकुम गोराई. कुमकुम का चयन आइआइटी खड़कपुर में कृषि और खाद्य प्रसंस्करण इंजीनियरिंग विभाग में हुआ. कुमकुम का जेइइ एडवांस में ओबीसी श्रेणी में 8496 रैंक था. कुमकुम बताती हैं कि 12वीं की परीक्षा के बीच में एक मार्च 2023 को सड़क दुर्घटना में उनके माता-पिता का निधन हो गया था. बलियापुर के जगदीश गांव के पास बाइक सवार माता-पिता टैंकर की चपेट में आ गये थे. इस गम को खुद में समेटकर 12वीं की परीक्षा दी. इसमें शानदार प्रदर्शन करते हुए 97.4 प्रतिशत अंक हासिल कर स्कूल टॉपर बनी. कुमकुम बताती है कि उनके माता-पिता का सपना उसे आइआइटी में पढ़ाना था. उनके देहांत के बाद कुमकुम ने उनके सपने को अपना सपना बना लिया.
घर में रहकर की ऑनलाइन तैयारी :
वर्ष 2023 में वह सफल नहीं हो पाई. घर में रह कर कुमकुम ने ऑनलाइन तैयारी की और 2024 में सफल हो गयी. कुमकुम ने 2024 के मई में आये जेइइ एडवांस के रिजल्ट में ओबीसी श्रेणी में 8496 रैंक प्राप्त कर आइआइटी खड़कपुर में कृषि और खाद्य प्रसंस्करण इंजीनियरिंग विभाग में अपनी सीट पक्की करवा ली. उन्होंने अपनी सफलता का श्रेय अपने पैरेंट्स को दिया है. वह कहती है कि देश की जानी मानी इंजीनियर बन अपने माता-पिता का नाम रोशन करूंगी. कुमकुम 10वीं के छात्र अपने छोटे भाई के साथ सिंदरी में अपने चाचा-चाची व दादा-दादी के साथ रहती है.