समस्तीपुर :समझौते से बिहार और देश के कृषि उत्पादों को जीआई टैग दिलाने में होगी सहूलियत : कुलपति
पूसा.डॉ. राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विवि पूसा और ग्रेट मिशन कंसल्टेंसी संस्था के बीच जी आई टैग हासिल करने को लेकर एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किया गया है। इस समझौते से बिहार तथा देश के कृषि उत्पादों को जी आई टैग दिलाने में सहूलियत होगी। विवि के वीसी कॉन्फ्रेंस हॉल में कुलपति डॉ. पी एस पांडेय की अध्यक्षता में कुलसचिव डॉ. मृत्युंजय कुमार और प्रोफेसर गणेश कुमार ने समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किया। इस अवसर पर कुलपति डॉ. पी एस पांडेय ने कहा कि यह समझौता विश्वविद्यालय के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने कहा कि जीआई टैग हासिल करने से बिहार तथा देश भर के किसानो को फायदा होगा।
उन्होंने कहा कि पहले जीआई टैगिंग के लिए काफी भागदौड़ करनी पड़ती थी। अब विश्वविद्यालय में आसानी से किसी भी विशिष्ट उत्पाद के जीआई टैगिंग के लिए आवेदन किया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि जी आई टैगिंग के बाद भी उन विशिष्ट उत्पादों के मार्केटिंग और निर्यात में विश्वविद्यालय सहयोग करेगा। उन्होंने कहा कि भारत में दस हजार से अधिक जीआई टैगिंग की क्षमता है लेकिन जागरूकता की कमी और आवेदन तथा रजिस्ट्रेशन न कर पाने के कारण हम पीछे है। उन्होंने कहा कि जी आई टैगिंग को लेकर पूरे विश्व में प्रतिस्पर्धा है और भारत को भी इसमें काम करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि जी आई टैगिंग से किसानों को उनके विशिष्ट उत्पाद का बेहतर दाम मिलेगा और देश को भी विदेशी मुद्रा का लाभ मिलेगा।
उन्होंने कहा विश्वविद्यालय ने एक स्ट्रेटेजि डाक्यूमेंट तैयार किया है जिससे कि बिहार के उत्पादों को वैश्विक स्तर पर पहचान मिलेगी और इसके माध्यम से किसानों को अपने उत्पादों को बेचने के लिए एक नया मंच मिलेगा। कुलसचिव डॉ. मृत्युंजय कुमार ने कहा कि यह समझौता विश्वविद्यालय के लिए एक नए द्वार को खोलने जैसा है। उन्होंने कहा कि बिहार के उत्पादों को जी आई टैग दिलाने से किसानों को अपने उत्पादों को बेचने के लिए एक नया अवसर मिलेगा। कार्यक्रम में बोलते हुए सहायक प्राध्यापक डॉ. मोहित कुमार ने कहा कि अब किसानों तथा अन्य हितधारकों को एक ही जगह से जी आई टैगिंग को लेकर कार्य संपन्न हो जायेंगे। ग्रेट मिशन के डायरेक्टर प्रोफेसर गणेश कुमार ने कहा कि यह समझौता विश्वविद्यालय के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है।