बोधगया पहुंचे बागेश्वर धाम के धीरेंद्र शास्त्री:पूर्वजों का कराएंगे पिंडदान, जिन्होंने 55 हजार की कटाई पर्ची उन्हीं को होटल में प्रवेश
पटना।बोधगया में शुक्रवार रात बाबा बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र शास्त्री पहुंचे। कार में सवार बाबा कड़ी सुरक्षा के बीच सम्बोधि रिट्रीट में प्रवेश कर गए। करीब 10 मिनट के बाद वे खुद के निजी कर्मियों के साथ बाहर निकले और भक्तों का अभिवादन स्वीकार किया। इस दौरान सभी ने फूल बरसाए। भक्तों ने जय श्री राम के जयघोष भी लगाए।
बाबा के भक्त बीते 2 दिनों से होटल के बाहर डेरा डाले हैं। भक्तों की संख्या करीब डेढ़ सौ के करीब होगी।बाबा करीब 200 भक्तों के पूर्वजों का पिंडदान कराएंगे। इसके लिए सभी ने 55 हजार की पर्ची कटवा रखी है। होटल में इन्हीं को रहने की अनुमति है। आम भक्त होटल के बाहर रही रहेंगे।
2 अक्टूबर तक रह सकते बाबा
बाबा के प्रबंधन कार्य से जुड़े अमितेश ने बताया है कि बाबा 2 अक्टूबर तक बोधगया में प्रवास करेंगे, लेकिन इस बात पर संशय बना है। वे 29 सितंबर को चले जाएंगे। प्रशासन का कहना है कि उन्हें बताया गया है कि बाबा 2 अक्टूबर तक रहेंगे। ऐसा पिछली बार भी हुआ था पर वे बीच में ही चले गए थे।
इधर सूत्रों कहना है कि पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने गया पाल पंडा गजाधर लाल धेड़ी को सम्बोधि रिट्रीट में आने का न्योता दिया है। वे अपने सहयोगी के साथ शनिवार की सुबह सम्बोधि रिट्रीट जाएंगे। इसके बाद दोपहर में पितृ दोष और पिंडदान से जुड़ा कार्य होटल के अंदर ही सम्पन्न कराया जाएगा। शाम को भागवत कथा पंडित धीरेंद्र शास्त्री अपने भक्तों को सुनाएंगे।
भक्तों के पूर्वजों का पिंडदान कराएंगे
गौरतलब है कि पंडित धीरेंद्र शास्त्री अपने भक्तों के पूर्वजों का पिंडदान कराने और भागवत कथा सुनाने के लिए बोधगया पहुंचे हैं। भागवत कथा का ऑनलाइन प्रसारण भी किया जाएगा। बाबा उन्हीं भक्तों के पूर्वजों का पिंडदान कराने के लिए आए हैं जिन्होंने पूर्व से 55 हजार रुपए की पर्ची कटवा रखी है।इस बात की पुष्टि देवरिया से आए गोवर्धन प्रसाद ने 55 हजार रुपए की पर्ची दिखा कर की है। बगैर पर्ची वाले को सम्बोधि रिट्रीट में प्रवेश की अनुमति नहीं है। पूर्व से पर्ची कटवाने वालों की संख्या 200 के करीब बताई जा रही है।
उन्हें होटल के अंदर प्रवेश एक दिन पहले से ही दे दिया गया है। बाबा के निजी सुरक्षा कर्मी और प्रबंधन से जुड़े कर्मी किसी भी आम भक्त को अनुमति नहीं दे रहे हैं। आम भक्तों के लिए रिट्रीट के बाहर पंडाल लगवाया गया है। वे वहीं से बाबा का दर्शन कर सकेंगे।