समस्तीपुर :पीपा पुल निर्माण की मांग को लेकर ग्रामीणों ने किया जल सत्याग्रह, ग्रामीण परेशान
Samastipur News: मोहिउद्दीननगर : प्रखंड के करीब दस गांवों में रहने वाली हजारों की आबादी पटना जिला के बाढ़ क्षेत्र से अपने पुराने संबंधों को जीवित रखने के लिए मुहिम छेड़ दी है. इस दौरान ग्रामीणों ने सोमवार को घटहाटोल और बाढ़ के बीच गंगा नदी पर पीपा पुल निर्माण की मांग को लेकर एक दिवसीय जल सत्याग्रह किया. सत्याग्रहियों का कहना था कि ऐतिहासिक व प्रामाणिक दावों में यह माना जाता है कि विद्यापतिनगर से चमथा होते हुए पतसिया तक रेल लाइन थी. उसके बाद बाढ़ और नवादा तक स्टीमर का परिचालन होता था.
अंग्रेजों के जमाने में यातायात की यह सुविधा लोगों को जीविका और आपसी संबंधों के बीच सेतु का काम करती थी. लेकिन भौगोलिक परिवर्तनों एवं आवागमन की दुर्गमता के कारण गंगा के उस पार के दूसरे गांवों के लोग इन गांवों में वैवाहिक संबंध बनाना नहीं चाहते. गंगा नदी के कारण इन इलाकों से दियारांचल के गांवों में कम समय में पहुंचने का एकमात्र विकल्प नाव है. नावों से यात्रा सुगम नहीं रहती है. दियारांचल के लोग सब्जियों, दूध तथा अन्न का व्यापार बाढ़ जैसे व्यापारिक मंडी से करते थे.
वहीं शिक्षा के लिए बाढ़ को अहमियत दी जाती थी. आज भी इस क्षेत्र से दर्जनों लोग एनटीपीसी में काम करने लिए अपनी जान जोखिम में डालकर नाव से यात्रा करने को विवश हैं.गंगा नदी में पानी रहने और सरकार की ओर से आवागमन की कोई स्थायी व्यवस्था नहीं होने के कारण लोगों का व्यापारिक संबंध भी बिगड़ गया है,आपसी संबंधों में भी दूरियां बढ़ गई है. इन दूरियों को पाटने के लोग लंबे समय से पीपा पुल निर्माण की मांग कर रहे हैं.
पीपा पुल निर्माण संघर्ष समिति के बैनर तले समाजसेवी भाई रणधीर, पंसस जितेंद्र कुमार सिंह जीतू, सरोज सिंह,पप्पू सिंह, धीरज कुमार सिंह, जट्टा सिंह, संजीव सिंह, बृजेश्वर सिंह,संतोष कुमार सिंह भूपेंद्र कुमार ने जल सत्याग्रह में भाग लिया. इनलोगों ने बताया कि मुख्यमंत्री,पथ निर्माण मंत्री, सांसद व विधायक से पीपा पुल निर्माण कराने की मांग की गई थी.किंतु अबतक इसपर कोई सकारात्मक पहल नहीं की गई है. परिणामतः इसे लेकर चरणबद्ध तरीके से आंदोलन किया जाएगा.