“बिहार पहुंचा कुवैत हादसे में मारे गए युवकों का शव:एक कहकर गया था-आखिरी बार जा रहा हूं; दूसरा 10 साल पहले गया था कुवैत
गोपालगंज.कुवैत की बिल्डिंग में आग लगने की घटना में मारे गए 45 भारतीयों में दो युवक गोपालगंज के भी हैं। शनिवार को दोनों का शव उनके पैतृक गांव पहुंचा। शिव शंकर सिंह कुशवाहा (45 साल) और अनिल गिरि (35 साल) का शव गांव पहुंचते ही कोहराम मच गया।शिव शंकर सिंह कुशवाहा गोपालपुर थाना क्षेत्र के सपहां गांव निवासी स्वर्गीय रामधारी सिंह के बेटे है। वहीं, अनिल गिरी पंचदेवरी प्रखंड के बनकटिया टोला कली छापर गांव निवासी रघुनाथ गिरी के बेटे है।
कंपनी में फोरमेन के पद पर नौकरी कर रहे थे शिव शंकर
शिव शंकर सिंह कुशवाहा हादसे के दिन अल-मंगफ इमारत में काम कर रहे थे। इस कारण वह आग की चपेट में आ गए और उनकी मौत हो गई। शिव शंकर पिछले एक दशक से कुवैत में रहकर कंपनी में फोरमेन के पद पर नौकरी कर रहे थे। शिव शंकर सिंह का पार्थिव शरीर गांव पहुंचते ही सैकड़ों की संख्या में लोग अंतिम दर्शन करने के लिए उमड़ पड़े।
एनबीटीसी कंपनी में फेब्रिकेशन का काम करते थे अनिल गिरी
वहीं, अनिल गिरी एनबीटीसी कंपनी में फेब्रिकेशन का काम करते थे। वो अपने एक रिश्तेदार के साथ वहां रहते थे। दोनों की मौत के बाद कुवैत और भारत सरकार की पहल से वायु सेना की विशेष विमान से पार्थिव शरीर स्वदेश पहुंचा।
बेटों की बेहतर पढ़ाई के लिए कमाने गए थे अनिल गिरी
मृतक के साला अखिलेश कुमार सिंह ने बताया कि बेटों को पढ़ाने के लिए अनिल गिरी अंतिम बार कुवैत कमाने के लिए गए थे, जहां अग्निकांड में उनकी मौत हो गई। उन्होंने कहा था कि लास्ट बार जा रहा हूं। दुबारा नहीं जाऊंगा और परिवार के साथ ही जिंदगी बिताऊंगा। लेकिन, होनी को कुछ और ही मंजूर था।
15 महीना पहले कुवैत गए हुए थे अनिल
बताया जाता है कि अनिल दूसरी बार 15 महीना पहले कुवैत गए हुए थे। उनका शव पहुंचने के साथ ही गांव में मातम पसर गया है। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है.घटना के एक दिन पहले पत्नी प्रियंका और बच्चों से उनकी फोन पर बात हुई थी। अग्निकांड के दिन ही उनके रिश्तेदार ने घटना की सूचना परिजनों को दी थी। मौत की खबर के बाद पूरे गांव में चीख पुकार मच गई।
पत्नी प्रियंका, बेटा मन्नत (10) व बेटी महक (14), मां आदरमती देवी और पिता रघुनाथ प्रसाद गिरी का रो-रोकर बुरा हाल है। परिजनों ने बताया कि शुक्रवार की देर शाम तक अनिल गिरी का शव दिल्ली ऐंबैसी पहुंचा था।उसके बाद वहां से शनिवार की अहले सुबह पटना लाया गया। जहां से बिहार सरकार की देख-रेख में गोपालगंज उनके पैतृक निवास शव पहुंचाया गया।
परिजनों ने बताया कि घटना की सूचना के बाद शव को लाने के लिए शुक्रवार को दिल्ली के लिए परिजन रवाना हुए थे। इसी दौरान दिल्ली ऐंबैसी से सूचना दी गई कि शव प्रशासन की देख-रेख में आपके घर तक पहुंचाया जाएगा। उसके बाद सभी परिजन वापस घर आ गए।घटना की सूचना के बाद अगल-बगल के गांव के हजारों लोग अनिल गिरी के दरवाजे पर इकट्ठा हो गए। वहीं, सूचना के बाद स्थानीय सीईओ व बीडीओ राहुल रंजन पुलिस प्राधिकारियों के साथ पहुंचकर मामले की जानकारी ली।
मुख्यमंत्री राहत कोष से दिया जाएगा मुआवजा
गोपालगंज के डीएम मोहम्मद मकसूद आलम ने इस घटना को दुखद बताया है। उन्होंने कहा है कि गोपालगंज के दो लोगों की मौत कुवैत में हुई है। दोनों के परिजनों को मुख्यमंत्री राहत कोष से मुआवजा दिया जाएगा। इसके लिए हम लोगों ने बिहार सरकार से आग्रह किया है।