“मां की मौत के बाद भी नहीं हारी हिम्मत:94.44% मार्क्स लाकर साइंस में टॉपर बनीं अनुष्का, जानिए सक्सेस स्टोरी
पटना.सीबीएसई ने 12वीं बोर्ड का रिजल्ट जारी कर दिया है। पटना की अनुष्का शर्मा साइंस विषय में 94.44% अंक हासिल कर मिलेनियम वर्ल्ड स्कूल की टॉपर बनी हैं। भास्कर से बातचीत में अनुष्का ने बताया कि 7 जून 2023 को बीमारी की चलते मां का निधन हो गया था। फिर भी अपनी पढ़ाई जारी रखी। पिता के सपनों को पूरा करना है। उनके पिता संतोष कुमार व्यापार करते हैं।
इंजीनियर बनने का है सपना
बड़ी बहन कानपुर से एमबीबीएस की पढ़ाई कर रही हैं, जबकि छोटा भाई 9वीं क्लास में पढ़ता है। अनुष्का ने बताया कि मैट्रिक की पढ़ाई भी मिलेनियम वर्ल्ड स्कूल से की थी। उनका इंजीनियर बनने का सपना है, इसलिए साइंस विषय को चुना है। डाटा एनालिसिस का भी शौक है।
सेल्फी स्टडी पर करना चाहिए फोकस
आज के जमाने में छात्र-छात्राएं आईएएस, आईपीएस बनना चाहती हैं। इस सवाल पर कहा कि यूपीएससी की तैयारी ग्रेजुएशन के बाद किया जा सकता है। बहुत सारे छात्र-छात्राएं जेई करने के बाद भी आईएएस-आईपीएस बनते हैं।
अनुष्का ने आगे कहा कि एनसीईआरटी की बुक पढ़ाई के लिए काफी लाभदायक साबित हो सकता है। एग्जाम से पहले 12 से 13 घंटे प्रतिदिन सेल्फ स्टडी करती थी। सेल्फ स्टडी पर ही छात्रों को ज्यादा फोकस करना चाहिए।
मैं एक दिन छोड़कर पढ़ाई करता था- पार्थ अग्रवाल
बीडी पब्लिक स्कूल में पार्थ अग्रवाल ने कॉमर्स संकाय में टॉप किया है। कदमकुआं के रहने वाले पार्थ ने 93.6% अंक हासिल किया है। अपनी सफलता का श्रेय माता-पिता और शिक्षकों को दिया है। उन्होंने कहा कि रेगुलर पढ़ने की जरूरत नहीं है, लेकिन आप जितनी देर भी पढ़ाई करें, उसमें अपना बेस्ट दें। मैं हर रोज नहीं पढ़ता था। एक दिन छोड़कर 3 से 4 दिन पढ़ाई करता था। किसी भी रेफरेंस बुक का इस्तेमाल नहीं किया, बल्कि NCERT की किताबों पर ही फोकस किया। मैंने कोई कोचिंग नहीं ली। सेल्फ स्टडी और स्कूल की पढ़ाई से ही सफलता मिली है।
कोचिंग की मदद नहीं ली- जरीन
संत माइकल हाई स्कूल की छात्रा जरीन ने आर्ट्स स्ट्रीम में 98.4% मार्क्स हासिल किया है। जरीन ने बताया कि उनके पिता इलेक्ट्रॉनिक कंपनी में एरिया हेड हैं। मां महनाज इंग्लिश टीचर हैं। शुरू से ही आर्ट्स और कंप्यूटर में रूची रही है। एनसीईआरटी किताबों पर ज्यादा भरोसा किय। स्कूल में ठीक से पढ़ाई की। सेल्फ स्टडी पर फोकस किया, कभी किसी कोचिंग की मदद नहीं ली।
IITian बनना है सपना- कुमार आदित्य
बीडी पब्लिक स्कूल में साइंस स्ट्रीम के टॉपर कुमार आदित्य को 95.2% आए हैं। बाकरगंज के रहने आदित्य ने कहा कि रिजल्ट के बारे में स्कूल से ही पता चला। उन्हें अंदाजा नहीं था कि आज रिजल्ट आ जाएगा। केमिस्ट्री में फुल मार्क्स आए हैं। दसवीं क्लास से ही केमिस्ट्री और मैथ्स काफी स्ट्रांग रहा है, इसलिए 12वीं कक्षा में भी उन्होंने साइंस स्ट्रीम का ही चयन किया।
रोज 10 से 16 घंटे पढ़ाई करते थे। टेक्निक से पढ़ाई की। सुबह के समय क्वेश्चन सॉल्व करता था। रात में पढ़ाई करता था। रात में चीज आसानी से याद हो जाती है। दिन से ज्यादा रात में पढ़ाई करना प्रेफर करते थे। कन्फ्यूजन दूर करने के लिए यूट्यूब से सहायता लेता था। सेल्फ स्टडी के लिए कभी-कभी कोचिंग को भी मिस कर देते थे। पिता का इलेक्ट्रॉनिक शॉप है, माता गृहिणी हैं। उनका सपना IITian बनना है।
देश और समाज के लिए कुछ करने का है इरादा- अंजलि
वहीं, राजवंशी नगर डीएवी की छात्रा अंजलि भार्गव को आर्ट्स स्ट्रीम में 97.8% अंक मिला है। अंजलि ने बताया कि आगे ज्योग्राफी ऑनर्स से ग्रेजुएशन करना है। दिल्ली यूनिवर्सिटी में एडमिशन लेना है। टीचर के सपोर्ट से ही इतने नंबर आए हैं। मैंने कभी कोई कोचिंग नहीं ली है। एनसीईआरटी बुक से ही पढ़ाई की है। इससे काफी मदद मिलती है। आगे यूपीएससी में जाने का इरादा है, ताकि देश और समाज के लिए कुछ कर सकूं।
रात में पढ़ाई करता थाः धीमन राय
धीमन राय लोयला स्कूल के छात्र हैं। धीमन को साइंस मैथ्स विंग्स में 95.4% मार्क्स मिला है। धीमन के पिता का नाम रोनित राय हैं। वहीं, मां रूपा राय एक हाउस वाइफ हैं। धीमन बचपन से मैथ्स में टॉपर रहें हैं। इसलिए उन्होंने मैथ्स को चुना। धीमन ने बताया कि वो रात को काफी समय शांति से पढ़ाई करते हैं। धीमन ने आरएस अग्रवाल और एनसीईआरटी की किताबों पर फोकस किया था। धीमन ने विद्या मंदिर से कोचिंग की है और उसको बेहतर भी मानते हैं। धीमन ने बताया कि स्कूल, कोचिंग और सेल्फ स्टडी से काफी हद तक मदद मिली। रेगुलर पढ़ाई बहुत जरूरी है।
12वीं के लिए सेल्फ स्टडी ही करता था: अनीश कुमार
केंद्रीय विद्यालय बैली रोड के अनीश कुमार स्कूल टॉपर बने हैं। उन्हें 97 परसेंट आया है। 500 में 485 मार्क्स प्राप्त हुए हैं। उनके पिता पवन कुमार दूरदर्शन में इंजीनियरिंग असिस्टेंट है। वहीं, मां पुष्पा कुमारी, जूनियर इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियर हैं।
अनीश कुमार ने बताया कि 12वीं परीक्षा के लिए कोई अलग से उन्होंने तैयारी नहीं कि जैसे सभी परीक्षाओं के लिए तैयारी होती है, उसी तरीके से उन्होंने तैयारी की। 12वीं के लिए सेल्फ स्टडी ही करता था। लेकिन जेई मेंस के लिए वह कोचिंग करते थे।12वीं की परीक्षा देने वाले स्टूडेंट्स के लिए अनीश का कहना है कि प्रतिदिन 6 से 7 घंटे की सेल्फ स्टडी जरूरी है। स्कूल से बहुत सहायता मिली। अलग से स्टडी मटेरियल दिया जाता था, जिसको देखकर हम लोग पढ़ाई करते थे।
अनीश कुमार ने कहा- आगे मेरा सपना है कि मैं साइंटिस्ट बनूं। जेई मेंस मेरा क्वालीफाई हो गया है। 99.27 परसेंट मार्क्स आया है। अब जेई एडवांस की तयारी कर रहा हूं। उनके पिता पवन कुमार ने बताया कि शुरू से ही पढ़ने में काफी अच्छा था। केंद्रीय विद्यालय की ओर से भी काफी सहयोग मिला। उनसे जब पूछा कि आपका क्या सपना है कि आपका बेटा क्या बने। उन्होंने कहा कि मेरे बेटे का जो सपना है। वही मेरा भी सपना है।
मेहनत का फल मिला है: ओर्चीशा घोष
पटना के दानापुर के संत कैरेन्स की ओर्चीशा घोष कॉमर्स में टॉपर रहीं। ओर्चीशा घोष ने 97.4% अंक प्राप्त किया है। ओर्चीशा घोष के पिता दीप्तेंद्र नारायण घोष पटना के उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक में क्लस्टर हेड के रूप में कार्यरत हैं। मां रंजीता घोष हाउस वाइफ है।
ओर्चीशा घोष ने बताया कि उसे इकनॉमिक में रुचि थी। इसलिए मैट्रिक के बाद 10+2 में कॉमर्स को चुना। मुझे यकीन नहीं था इतना नंबर आ जाएगा। बहुत खुशी हो रही है। मेहनत का फल मिला है। मैं हर दिन चार से पांच घंटे पढ़ाई करती थी। सभी सब्जेक्ट एक दिन में नहीं बल्कि रूटीन वाइज पढ़ा करती थी। मैंने एनसीईआरटी के साथ टीएस अग्रवाल को पढ़ाई में ज्यादा प्रिफरेंस दी। मैंने कही भी कोई कोचिंग क्लासेस नहीं की। स्कूल में शिक्षकों द्वारा पढ़ाने के बाद घर पर आकर उसका सेल्फ स्टडी किया। मैं इस उपलब्धि को अपने शिक्षक और पैरेंट्स को समर्पित करना चाहतीं हूं। मेरे माता-पिता ने कभी भी पढ़ाई को लेकर प्रेशर नहीं दिया कि मुझे ये नहीं वो पढ़ना चाहिए।