समस्तीपुर;6 करोड़ के आभूषण व एक लाख नकद लूटे, 7 अपराधियों पर एफआईआर दर्ज,जाने क्या हुआ अब तक
समस्तीपुर।मुफ्फसिल थाना क्षेत्र के मोहनपुर रोड स्थित रिलायंस ज्वेल्स में दूसरे दिन गुरुवार की शाम शोरूम के मैनेजर ने थाने में आवेदन दिया। मुफ्फसिल थानाध्यक्ष पिंकी प्रसाद ने बताया कि शोरूम के मैनेजर दिलीप गिरि के द्वारा लूट के संबंध में एफआईआर दर्ज करने के लिए आवेदन दिया गया है। इसमें 10 किलो सोना और एक लाख नगद लूट की बात बताई गई है। एफआईआर दर्ज करने की प्रक्रिया की जा रही है। सोने के आभूषण की कीमत करीब छह करोड़ रुपए बताई गई है।
डकैती मामले में पुलिस की अलग-अलग सात टीम जांच व छापेमारी में जुटी है। गुरुवार को सीआईडी, राज्य एसटीएफ, डॉग स्क्वायड, एफएसएल, एसआईटी, डीआईयू व जिले के तेज तर्रार पुलिस पदाधिकारियों की टीम अपने-अपने स्तर से जांच की। टीमों ने छापेमारी में 6 संदिग्ध को उठाया है जिससे पूछताछ जारी है। पुलिस का दावा है कि कांड को अंजाम देने वाले अपराधियों की पहचान हो गई है।
विशेष टीम सीसीटीवी फुटेज को खंगाल रही : पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार घटना को सात की संख्या में आए अपराधियों ने अंजाम दिया है। घटना के बाद सभी अपराधी तीन बाइक से मुसरीघरारी की तरफ फरार हुए थे। पुलिस सूत्रों के अनुसार शोरूम में करोड़ों रुपए के ज्वेलरी का स्टॉक था। अपराधियों ने 20 मिनट में आधे से अधिक की ज्वेलरी को लूट लिया और फरार हो गए। शोरूम के कैश काउंटर से भी दिनभर की बिक्री से आए नकद लूट लिए। पुलिस की एक अलग विशेष टीम बनायी गई है जो केवल सीसीटीवी फुटेज को खंगालने में जुटी है। घटना में संलिप्त अपराधियों की गिरफ्तारी व मामले के खुलासे को लेकर जिलास्तर पर भी एसआईटी का गठन किया गया है। रिलायंस ज्वेल्स में घटना के दौरान अपराधियों का छूटी एक पिस्टल व छह से सात गोली पुलिस ने बरामद की है। वहीं देर शाम एसपी ने एसटीएफ व एसआईटी के साथ बैठक भी की।
घटनास्थल पर पहुंचकर एफएसएल की टीम द्वारा जांच की गई है। वहां से टीम ने जांच के लिए कुछ नमूने एकत्र किए। वहीं दोपहर में डॉग स्क्वायड की टीम ने भी शोरूम के अंदर व शोरूम के बाहर आसपास जांच की है। हालांकि पुलिस को उसमें कुछ खास सुराग नहीं मिला। वहीं साइबर थाना पुलिस ने भी पहुंच कर जांच करने में जुटी हुई थी। इसकी जांच के लिए पटना से भी एक विशेष टीम बुलाई गई थी। वहीं घटना की सूचना के बाद कंपनी से जुड़े लोग भी पुलिस को आवश्यक सहयोग देने के लिए पटना से आए हुए थे। इस शोरूम में कर्मियों की संख्या 50 के आसपास बताई गई है। पुलिस ने अलग-अलग सभी कर्मियों से बारी-बारी से पूछताछ की है। घटना के बाद उपस्थित सभी कर्मियों का मेटल डिटेक्टर से जांच करने के बाद उन्हें कल फिर से आने की बात कह कर जाने दिया गया।
^सीसीटीवी फुटेज व मानवीय और सूचना संकलन के आधार पर अपराधियों की पहचान लगभग कर ली गई है। उनके विरुद्ध साक्ष्य भी पुलिस को मिले हैं। उनकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस छापेमारी कर रही है। जल्द ही मामले का खुलासा हो सकता है। – संजय कुमार पाण्डेय, एएसपी सह सदर एसडीपीओ
.शहर में लगे सीसीटीवी कैमरे पिछले डेढ़ साल से मेंटेनेंस के आभाव में खराब होकर बंद हैं, उसे चालू कराना होगा। .आपराधिक घटना के बाद शहर को 15 मिनट के अंदर सील करने की योजना नहीं उतरी धरातल पर। .व्यवसायियों एवं खासकर ज्वेलर्स दुकानदारों के साथ पुलिस अब नहीं करती है मासिक बैठक, उसे शुरू करना होगा .थानों पर अब चौकीदार की नहीं होती है नियमित परेड, इससे पुलिस का खुफिया तंत्र हुआ है कमजोर।
पुलिस के लिए अपराधियों की पहचान करना और उन्हें गिरफ्तार करना एक बड़ी चुनौती है। क्योंकि रिलायंस ज्वेल्स शोरूम के आसपास सीसीटीवी कैमरा नहीं लगे होने व कहीं पर कैमरा खराब होने की वजह से पुलिस को फुटेज उपलब्ध नहीं हो पाया है। हालांकि शोरूम के फुटेज के आधार पर पुलिस अपराधियों की पहचान में जुटी हुई थी। एसपी संजय कुमार पांडे ने बताया कि अपराधियों के पहचान कर ली गई है काफी साक्ष्य पुलिस को मिले हैं। घटना में संलिप्त अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है। फुटेज के अनुसार केवल एक अपराधी काले रंग का मास्क पहने हुए था और बाकी सभी का चेहरा दिखाई दे रहा था। बता दें कि शहर के विभिन्न इलाकों में लगाए गए 32 से अधिक सीसीटीवी कैमरों में से लगभग सभी कैमरे पिछले डेढ़ साल से अधिक समय से मेंटेनेंस के अभाव में खराब होकर पूरी तरह से बंद है। इस कारण पुलिस को शहर में होने वाली संदिग्ध गतिविधियों के बारे में पता नहीं चल पाता है।