नियोजित शिक्षकों की सक्षमता परीक्षा हल्की होगी, IAS केके पाठक बोले-नियोजित शिक्षकों में टैलेंट बहुत, कंप्यूटर सीखना भारी काम नहीं
पटना।सीतामढ़ी।शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक शुक्रवार की शाम सीतामढ़ी डायट भवन में पहुंचे। इससे पूर्व केके पाठक जिले के चोरौत और सुरसंड प्रखंड के कई स्कूलों का निरीक्षण किया। मिली जानकारी के अनुसार सुरसंड प्रखंड के कंटाही प्राथमिक विद्यालय में 4:55 बजे पहुंचे। जहां उन्होंने स्कूल के शिक्षक और बच्चों से फीडबैक भी लिया। इसके बाद सीधा डायट भवन के लिए निकल गए। जहां ट्रेनिंग ले रहे नियोजित शिक्षकों को संबोधित किया।
कंप्यूटर हमने भी धीरे-धीरे सीखा है
संबोधन के दौरान शिक्षकों के हो रहे विरोध पर भी उन्होंने कई अहम बातें कही। कहा कि मुख्यमंत्री नवंबर में ही बोल दिए थे कि हल्की परीक्षा होगी। वहीं कंप्यूटर पर परीक्षा देने वाली समस्या को लेकर भी उन्होंने कहा कि हमारी पीढ़ी जब पढ़ रही थी तो स्कूलों में कंप्यूटर नहीं थी। जब हम आईएएस में आए तो हमने धीरे-धीरे सीखा। उन्होंने कहा कि कंप्यूटर पर सारा काम नहीं कर सकते, लेकिन बहुत काम कर सकते हैं। हमने सीखा है। सारी रिपोर्ट मैं खुद बनाता हूं। सीएम के सामने किसी मैटर को लेकर प्रेजेंटेशन दिखाना होता है तो कंप्यूटर पर सारी तैयारी खुद करते हैं।इस दौरान उपस्थित ट्रेनिंग ले रहे नियोजित शिक्षकों के बारे में डायट के प्राचार्य से कहा कि इन्हें पावर प्वाइंट प्रेजेंटेशन बनाना सिखाया गया है कि नहीं, जिस पर सभी शिक्षक अभ्यर्थी और डायट की प्राचार्य ने हां में जवाब दिया। उन्होंने कहा कि सीखने का कोई अंत नहीं है और इसे कोई निगेटिव में न ले।
प्राचार्य से पाठक ने कहा कि डायट में कंप्यूटर पर सक्षमता परीक्षा से संबंधित ट्रेनिंग दिया जाए। उन्होंने कहा कि कोई भारी काम नहीं है एक बटन दबाना है और दूसरे क्वेश्चन पर पहुंच जाना है। वहीं हंसते हुए कहा कि हां अपने मर्जी से आंसर देना है। इस दौरान उन्होंने कहा कि अब नियोजित शिक्षकों की सक्षमता परीक्षा पांच बार ली जाएगी।
अलग अंदाज में दिखे पाठक
बता दें कि पाठक पहले के अंदाज से थोड़ा अलग दिखे। ऐसा माना जा सकता है कि शिक्षकों के विरोध का असर केके पाठक पर दिख रहा है। उन्होंने साफ तौर पर संबोधन में कहा कि सक्षमता परीक्षा आसान होगा। वही मुख्यमंत्री के द्वारा 2 नवंबर को कही गए बात को भी दोहराया।
उन्होंने कहा कि अगर नियोजित शिक्षकों में टैलेंट नहीं होता, तो 35 हजार नियोजित शिक्षक BPSC को कैसे पास करते। उन्होंने कहा कि TRE-3 में भी परीक्षा देंगे तो 10-15 हजार नियोजित शिक्षक पास हो जाएंगे। उन्होंने नियोजित शिक्षकों को खूब बड़ाई की, कहा कि नियोजित शिक्षकों में टेलेंट की कोई कमी नहीं है।