नौकरी देने के मामले में बिहार ने रचा इतिहास, महज 72 दिनों में कर डाली 2.17 लाख नियुक्ति
पटना। बिहार ने 72 दिनों के अंदर 2.17 लाख युवाओं को नौकरी उपलब्ध कराकर पूरे देश में इतिहास रच दिया। देश में यह पहली बार हुआ जब नीतीश सरकार के दो विज्ञापन से युवाओं को इतनी रिकॉर्ड संख्या में नौकरी मिली।इस सरकार ने शनिवार को 96,823 युवाओं को नियुक्ति पत्र देकर उन्हें गुरु होने का मान-सम्मान दिया। वहीं बीते वर्ष 2 नवंबर को एक लाख 20 हजार 336 युवाओं को शिक्षक पद पर बहाली कर उनके गौरव बढ़ाया था। यह भी इतिहास में दर्ज हो गया कि पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान में नवनियुक्त 26,925 शिक्षकों को आमंत्रित कर उन्हें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उप मुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने अपने हाथों से नियुक्ति पत्र दिया।
पिछली बार इसी मैदान पर 25 हजार शिक्षकों को नियुक्ति पत्र दिया गया था। गांधी मैदान के समारोह का लाइव प्रसारण सभी जिला मुख्यालयों में हुआ। इस प्रकार कपकपाती ठंड के बीच पुन: इस ऐतिहासिक पल का गवाह पूरे प्रदेश के करोड़ों लोग बने। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने 12 शिक्षकों को सांकेतिक रूप से नियुक्ति पत्र प्रदान किया।अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने बड़ी घोषणा करते हुए कहा कि शिक्षकों के खाली पदों पर भी जल्द नियुक्ति की जाएगी। अगले डेढ़ साल में दस लाख नौकरी और दस लाख रोजगार दिया जाएगा। अब तक 3 लाख 63 हजार युवाओं को सरकारी नौकरी दी जा चुकी है, जबकि 5 लाख लोगों को रोजगार दिया गया है।
3.5 लाख नियोजित शिक्षकों को जल्द मिलेगा सरकारी दर्जा
राज्य के साढ़े तीन लाख नियोजित शिक्षकों को जल्द सरकारी अध्यापक का दर्जा देने की घोषणा करते हुए मुख्यमंत्री कहा कि हम लोग जल्द ही नियोजित शिक्षकों को राज्य कर्मी का दर्जा देने जा रहे हैं। इसके लिए जल्द ही परीक्षा का आयोजन करवाया जाएगा। जल्द ही इस प्रक्रिया को पूरा करेंगे ताकि सब सरकारी शिक्षक हो जाएंगे। इसके लिए तीन फेज में परीक्षा ली जाएगी।
दस लाख से ज्यादा नौकरियां देने का एलान
राज्य सरकार में दी जा रही सरकारी नौकरियों की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि हम लोग युवाओं को दस लाख से ज्यादा सरकारी नौकरी देंगे। ऐसा नहीं है कि केवल शिक्षा विभाग में ही नियुक्ति हो रही है। अलग-अलग विभागों में भी नियुक्ति प्रक्रिया चल रही है। आने वाले समय में बड़े पैमाने पर सरकारी नौकरी दी जाएगी।उन्होंने मीडिया की ओर इशारा करते हुए मुस्कुरा कर कहा कि हम लोग कितना काम कर रहे हैं, यह आप लोग देख रहे हैं, लेकिन हमें पता है कि सारी बातों को आप लोग नहीं छापियेगा।
नवनियुक्त शिक्षकों में 51 प्रतिशत महिलाएं
प्रदेश में नारी सशक्तीकरण की दिशा में एक और बड़ी उपलब्धि की चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री कहा कि यह बड़ी खुशी की बात है कि आज जितने नवनियुक्त शिक्षकों को नियुक्ति पत्र दिया गया है, उनमें 51 प्रतिशत महिलाएं हैं।उन्होंने कहा कि दो चरण में कुल 2 लाख 17 हजार से ज्यादा शिक्षकों की नियुक्ति से अब बिहार में छात्र-शिक्षक का अनुपात 35:1 हो गया है, जो गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की दिशा में एक प्रभावी कदम है। उन्होंने कहा कि बिहार के अलावा दूसरे राज्यों एवं देश से बाहर के लोग भी आकर यहां शिक्षक बने हैं, यह अति प्रसन्नता का विषय है।
बिहार के लोग भी बाहर जाकर अलग-अलग प्रदेशों में एवं देश के बाहर नौकरी करते हैं, इसलिए हमने शुरू में ही कहा था कि बिहार के अलावा बाहर के लोगों को भी यहां होनेवाली बहाली में शामिल होने का अवसर प्रदान किया जाएगा, इसको लेकर मेरी आलोचना भी हुई थी। दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक, उत्तराखंड, झारखंड समेत कई दूसरे राज्यों के लोग बिहार में शिक्षक नियुक्त हुए हैं। मैं उनका”