Jaya Kishori;साध्वी जया किशोरी,जिनके भजनों के करोड़ों हैं दीवाने,जानिये इनसे जुड़ी दिलचस्प बातें
Jaya Kishori,Jaya Kishori Biography: जया किशोरी भारत की चर्चित कथाकारों में से एक हैं। जो अपनी कथाओं के अलावा मोटिवेशनल स्पीच के लिए भी जानी जाती हैं। यही नहीं इनकी मधुर आवाज के भी करोड़ों लोग दिवाने हैं। तभी तो इनके भजनों को यूट्यूब पर लाखों से करोड़ों व्यूज आसानी से मिल जाते हैं। जया भगवान कृष्ण की भक्त हैं। इन्होंने श्री कृष्ण को समर्पित कई भक्ति गीत भी गाएं हैं। जानते हैं जया किशोरी से जुड़ी कुछ दिलचस्प जानकारी…
जया किशोरी की ऑफिशियल वेबसाइट से मिली जानकारी के अनुसार इनका जन्म साल 1995 में 13 जुलाई को कोलकाता में हुआ था। इनके पिता का नाम शिव शंकर शर्मा और माता का नाम सोनिया शर्मा है। जया किशोरी 7 साल की बेहद ही कम उम्र में आध्यात्म के मार्ग से जुड़ गई थीं। मुख्य रूप से जया किशोरी अपनी कथाओं के लिए जानी जाती हैं। जिसका उसके अनुयायियों के मन पर गहरा प्रभाव पड़ता है। उन्होंने श्रीमद् भागवत कथा और नानी बाई रो मायरा पर आधारित 350 से अधिक कथाओं का आयोजन किया है, जो इनके इष्ट देवता भगवान कृष्ण को समर्पित हैं।
जया किशोरी का बचपन से ही आध्यात्मिक क्षेत्र की गहराई में डूब जाना इसलिए आसान हो गया क्योंकि वह पारंपरिक धार्मिक विश्वासों से जुड़े परिवार में पैदा हुई थीं। यानी की बचपन से ही उन्होंने भक्ति का माहौल अपने परिवार में देखा था। जानकारी अनुसार इनके दादा दानी ने इनके आध्यात्मिक मार्ग को सशक्त बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई क्योंकि भगवान कृष्ण की कई कहानियां उनसे रिलेटेड थीं और उन्होंने बचपन से ही भजनों को पूरी तरह से याद कर लिया था।
सजा दूं घर को गुलशन सा अवध में राम आए हैं-
जब हम उनके भजनों के बारे में बात करते हैं, तो उनके कई भजन ऐसे हैं जिन्हें प्रशंसा और मान्यता प्राप्त है। इनकी फेमस एल्बमों के नाम हैं शिव स्तोत्र, सुंदरकांड, मेरे कान्हा की, श्याम थारो खाटू प्यार, दीवानी में श्याम की। गूगल पर इनके भजनों समेत इनकी उम्र, मैरिड लाइफ, हसबैंड इत्यादि के बारे में भी खूब सर्च किया जाता है।
काली कमली वाला मेरा यार है-
जानकारी अनुसार जया किशोरी ने अभी विवाह नहीं किया है। लेकिन मीडिया में दिए एक इंटरव्यू में इन्होंने कहा है कि वे सामान्य युवती की तरह ही हैं। समय आने पर वे शादी भी करेंगी। जया किशोरी के पिता भी उनकी शादी की बात कई साक्षात्कार में कह चुके हैं। कहा जाता है कि जया किशोरी को शुरुआती शिक्षा देने वाले गुरु गोविंदराम मिश्र ने इन्हें ‘किशोरीजी’ की उपाधि आशीर्वाद के रूप में दी थी।
मीठे रस से भरयोरी-
जानकारी अनुसार जया किशोरी अपनी कथाओं से आने वाली दान की राशि को नारायण सेवा ट्रस्ट, उदयपुर राजस्थान को दान करती हैं। कथाओं से मिले दान से विकलांगों की मदद की जाती है। ये ट्रस्ट गरीब बच्चों के लिए स्कूल और खाने पीने का ध्यान भी रखती है। यूट्यूब पर इनके ऑफिशियल चैनल Iamjayakishori को 4 लाख से ज्यादा लोगों ने सब्सक्राइब किया हुआ है और फेसबुक पर भी जया किशोरी से लाखों लोग जुड़े हैं।