Friday, November 22, 2024
HealthSamastipur

समस्तीपुर सदर अस्पताल में टोकन सिस्टम से रजिस्ट्रेशन बंद, मरीजों की बढ़ी परेशानी..

समस्तीपुर सदर अस्पताल के ओपीडी में टोकन सिस्टम बंद हो गया। मरीजों को लंबी लाइन से निजात दिलाने के लिए यह सिस्टम लागू किया गया था। 28 जून 2019 को तत्कालीन सिविल सर्जन ने ओपीडी में टोकन सिस्टम का शुभारंभ किया था, लेकिन उपकरण में खराबी आने की वजह से अब यह व्यवस्था बंद कर दी गई। इसके बाद उसे ठीक कराने की कभी कोशिश नहीं की गई। अभी ओपीडी में प्रति चिकित्सक से करीब 300 से अधिक मरीज इलाज कराने पहुंच रहे, जिनका इलाज किसी तरीके से निपटाया जा रहा है। सहज रूप से अंदाजा लगाया जा सकता है कि वहां किस तरह काम हो रहा होगा।

 

दवा और पुर्जा लेने में ही मरीजों को लग जाते घंटों
सदर अस्पताल के ओपीडी में एक ही जगह मरीजों के लिए रजिस्ट्रेशन होता है। मरीजों को पहले रजिस्ट्रेशन काउंटर, फिर ओपीडी में इलाज कराने एवं अंत में दवा काउंटर पर घंटों लाइन में लगनी पड़ती है। पूरा दिन लाइन में ही बीत जाता है। इसके बावजूद उन्हें बेहतर इलाज की सुविधा नहीं मिल पा रही।

मरीजों को आनलाइन रजिस्ट्रेशन की नहीं मिल रही सुविधा
सदर अस्पताल को माडल अस्पताल बनाने का सपना भले ही जिला प्रशासन देख रहा हो, लेकिन यहां के हालात कुछ और ही कहते हैं। यहां ओपीडी में इलाज कराने के लिए मरीजों को अभी भी काफी परेशानियों से जूझना पड़ता है। सबसे ज्यादा परेशानी महिला मरीजों को हो रही। ओपीडी और दवा काउंटर पर महिलाओं को इलाज और दवा के लिए घंटों लाइन में खड़ा रहना पड़ता है, जिसमें गर्भवती महिलाएं भी शामिल हैं। सदर अस्पताल में अगर आप चाहे कि घर से अस्पताल के चिकित्सक या किसी विभाग के विशेषज्ञ चिकित्सक से इलाज कराने को आनलाइन रजिस्ट्रेशन कर चिकित्सा सुविधा लें तो अभी तक यह सुविधा उपलब्ध नहीं है। यहां ओपीडी के लिए औसतन 900 एवं अधिकतम 1200 मरीजों का रजिस्ट्रेशन होता है।

Kunal Gupta
error: Content is protected !!