Monday, September 23, 2024
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आइएएस तो बन गए, लेकिन छह महीने भी नहीं कर पाएंगे नौकरी; बिहार के इन अफसरों के साथ हुआ ऐसा..

 

पटना। Bihar News: बिहार के 26 अफसर आइएएस तो बन गए, लेकिन इस ओहदे पर काम करने का मौका उन्‍हें बेहद कम समय के लिए मिलेगा। दरअसल, राज्य सिविल सेवा के 26 अधिकारियों को भारतीय प्रशासनिक सेवा में प्रोन्नति दी गई है। लेकिन, प्रक्रिया की लेट लतीफी के कारण इनमें से एक दर्जन ऐसे अधिकारी हैं, जिनका कार्यकाल छह महीने से साल भर तक ही रहेगा। इसके चलते इन्हें किसी महत्वपूर्ण पद पर बिठाया भी नहीं जा सकता है।

2018 और 2019 की रिक्‍त‍ियों के विरुद्ध मिली प्रोन्‍नत‍ि

सुविधाओं का लाभ भले ही इन्हें मिल जाए, महत्वपूर्ण प्रशासनिक जिम्मेवारी से ये वंचित रह जाएंगे। इन अधिकारियों को 2018 एवं 2019 की रिक्तियों के विरुद्ध प्रोन्नति दी गई है। इन सभी नव प्रोन्नत अधिकारियों को भारतीय प्रशासनिक सेवा के 2009 बैच में शामिल किया है। अगर इन अफसरों को उसी वर्ष में प्रोन्‍नत‍ि मिल गई होती, तो आइएएस के तौर पर अध‍िक दिनों तक काम करने का मौका इन्‍हें मिलता।

2020 और 2021 की प्रोन्‍नत‍ि अब तक लंबित

सामान्य प्रशासन विभाग ने इनके पदों को संयुक्त सचिव के स्तर का बना दिया है। प्रोन्नति की प्रक्रिया समय पर पूरी हो जाती तो इन अधिकारियों को थोड़ा लंबा कार्यकाल मिल सकता था। 2020-2021 के दो बैच की प्रोन्नति लंबित है। आपको बता दें क‍ि बिहार में न‍‍िर्धारित कोटा के अनुरूप आइएएस की कमी है। इसके चलते सीन‍ियर लेबल पर एक-एक अफसर के जिम्‍मे कई विभाग हैं।

इनके जन्म का वर्ष 1963 है

सुमन कुमार, रामशंकर, विनय कुमार, प्रवीण कुमार गुप्ता, रमेश कुमार झा, गजेंद्र कुमार मिश्रा, राजेश चौधरी, यशपति मिश्रा, सर्व नारायण यादव, बिजेंद्र प्रसाद, नवल किशोर एवं कपिलेश्वर मंडल। ये सभी 12 अधिकारी अगले साल अवकाश ग्रहण कर जाएंगे। चार अधिकारियों के जन्म का वर्ष 1966 है। ये हैं:-दिनेश कुमार राय, मो. नैयर इकबाल, महेंद्र कुमार और राकेश कुमार।  इन्हें करीब चार साल का कार्यकाल मिलेगा। ये 2026 में सेवा निवृत होंगे। यह इस बैच के अधिकारियों का यह अधिकतम कार्यकाल होगा।

Kunal Gupta
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