संबद्ध डिग्री कालेजों के लिए बिहार सरकार ने खोला खजाना, 684 करोड़ रुपए की मदद को मंजूरी
पटना। बिहार के संबद्ध डिग्री कालेजों के हजारों स्टाफ के लिए होली से पहले सरकार ने बड़ी खुशखबरी दी है। इन कालेजों को चार स्नातक शैक्षणिक सत्र के रिजल्ट पर आधारित यानी पिछले चार साल का बकाया अनुदान भुगतान जल्द मिलेगा। शिक्षा विभाग के प्रस्ताव पर लोक वित्त समिति ने 684 करोड़ रुपये की मंजूरी दे दी थी। मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई बैठक में भी शिक्षा विभाग के इस प्रस्ताव को स्वीकृत कर दिया गया। शिक्षा विभाग की ओर से संबद्ध डिग्री कालेजों को बकाया अनुदान भुगतान को लेकर विशेष सावधानी बरती जा रही है।
अनुदान राशि का खर्च नियमावली के अनुसार
चूंकि अनुदान राशि कालेजों को इस शर्त के साथ दी जाती है कि उसका भुगतान विधिवत नियुक्त एवं कार्यरत शिक्षकों और कर्मचारियों को किया जाएगा। इसके लिए प्रविधान है। इस व्यवस्था के तहत स्नातक सत्र 2011-2014 से लेकर सत्र 2014-17 तक के लिए 684 करोड़ रुपये का प्रस्ताव शिक्षा विभाग ने लोक वित्त समिति को भेजा था, जहां से प्रस्ताव को स्वीकृति मिल गई है।
संबद्ध डिग्री कालेजों को चार शैक्षणिक सत्र के बकाये भुगतान की मंजूरी
लोक वित्त समिति ने 684 करोड़ रुपये के प्रस्ताव पर सहमति दी
रिजल्ट आधारित अनुदान की तय राशि
संबद्ध डिग्री कालेजों को उसके छात्र-छात्राओं के श्रेणीवार स्नातक रिजल्ट के आधार पर अनुदान देने की व्यवस्था है। यह व्यवस्था विश्वविद्यालयों के स्नातक शैक्षणिक सत्र वर्ष 2005-2008 से लागू है। इसके तहत किसी छात्रा के प्रथम श्रेणी से पास होने पर 8700 रुपये, द्वितीय श्रेणी से पास होने पर 8200 रुपये और तृतीय श्रेणी से पास होने पर 7700 रुपये की अनुदान राशि तय है। बकाया अनुदान की राशि तीनों वर्षों की है, इसलिए अनुदान की राशि भी तीन गुणा है। इसी प्रकार किसी छात्र के प्रथम श्रेणी से पास होने पर 8500 रुपये, द्वितीय श्रेणी से पास होने पर 8000 रुपये और तृतीय श्रेणी से पास होने पर 7500 रुपये की अनुदान राशि तय है।